राणा हम्मीर (1326 – 1364 ई.) मेवाड़ के गहलोत वंश के वीर और न्यायप्रिय शासक थे। उन्हें मेवाड़ की स्वतंत्रता पुनः स्थापित करने का श्रेय प्राप्त है। बाल्यकाल से ही वे साहसी, बुद्धिमान और युद्धकला में निपुण थे। उनका जीवन मेवाड़ की सुरक्षा, राजपूत गौरव और धर्म की रक्षा में समर्पित था।
राणा हम्मीर ने मेवाड़ को मुस्लिम आक्रमणकारियों और आंतरिक विद्रोहों से बचाया। उन्होंने चित्तौड़गढ़ और अन्य किलों को मजबूत कर राज्य की सुरक्षा सुनिश्चित की। उनके अद्भुत नेतृत्व और रणनीति के कारण आक्रमणकारी उनके सामने टिक नहीं पाए। इस तरह मेवाड़ का स्वतंत्र और शक्तिशाली राज्य पुनः स्थापित हुआ।
राणा हम्मीर ने कई युद्ध लड़े और अपने समय के आक्रमणकारियों को परास्त किया। उनकी सैन्य रणनीति, नेतृत्व क्षमता और वीरता अद्वितीय थी। उन्होंने दिल्ली सल्तनत और अन्य आक्रमणकारियों के खिलाफ मेवाड़ की स्वतंत्रता सुरक्षित की। उनके अदम्य साहस और पराक्रम की गाथाएँ आज भी राजस्थान की लोककथाओं और इतिहास में जीवित हैं।
राणा हम्मीर केवल योद्धा ही नहीं, बल्कि धर्म, संस्कृति और सामाजिक न्याय के संरक्षक भी थे। उन्होंने मेवाड़ में मंदिरों और सांस्कृतिक केंद्रों का संरक्षण किया और शिक्षा को प्रोत्साहित किया। उनके शासनकाल में मेवाड़ में न्याय, स्थायित्व और सांस्कृतिक उन्नति सुनिश्चित हुई। उन्होंने किले, दुर्ग और सैन्य अड्डे बनाकर राज्य की सामरिक शक्ति को भी मजबूत किया।
राणा हम्मीर की वीरता, न्यायप्रिय शासन और दूरदर्शिता ने मेवाड़ को स्थायित्व और गौरव प्रदान किया। उनके योगदान से मेवाड़ न केवल सुरक्षित बल्कि समय के शक्तिशाली राज्यों में गिना जाने लगा। उनकी वीरगाथाएँ, साहस और बलिदान आज भी हर भारतीय के हृदय में जीवित हैं।
राणा हम्मीर सच्चे "भारत-पुत्र" और अद्वितीय "धर्मवीर" थे। हे वेदांतियों! अपने इस महान पूर्वज को नमन करो, जिसने अन्याय और आक्रमण के सामने कभी हार नहीं मानी। उनके साहस और पराक्रम ने यह सिद्ध किया कि धर्म और मातृभूमि की रक्षा के लिए जीवन का प्रत्येक क्षण समर्पित होना चाहिए। राणा हम्मीर का बलिदान केवल मेवाड़ तक सीमित नहीं रहा, बल्कि सम्पूर्ण भारतभूमि की आत्मा में गूंजता रहा। उनकी गाथा हमें यह प्रेरणा देती है कि विपरीत परिस्थितियों में भी दृढ़ विश्वास और अटल साहस से विजय प्राप्त की जा सकती है। वे सदैव इस धरती के गौरव रहेंगे और भारतीय इतिहास के स्वर्णाक्षरों में अमर रहेंगे।